रागा न्यूज़,चंड़ीगढ़।
बीते बुधवार की घटना के बाद इस चंडीगढ़-मोहाली बॉर्डर पर बैरिकेडिंग को और मजबूत करने और अतिरिक्त पुलिस फोर्स तैनात किए जाने की कार्रवाई शुरू हो गई है।
चंडीगढ़-मोहाली बॉर्डर पर वीरवार को भी माहौल तनावपूर्ण रहा।
वीरवार को फिर सिख संगठनों के 31 मेंबरों के जत्थे ने चंडीगढ़ में घुसने की कोशिश की । उन्होंने पंजाब मुख्यमंत्री भगवंत मान के घर की तरफ कूच किया था। जिन्हें पुलिस ने रोक लिया है। जिसके बाद सिख संगठन वहीं सड़क पर बैठ गए और पाठ शुरू कर दिया।
पाठ समाप्त होने के बाद जत्थे ने चंडीगढ़ जाने की रखी मांग, लेकिन उन्हें अनुमति नहीं मिली। इसके बाद जत्था दोबारा पाठ करने बैठ गया । लगभग आधा घंटा पाठ करने के बाद जत्था नारेबाजी करते हुए वापस वहां लौट गया, जहां 7 जनवरी से उनका धरना चल रहा था।
बुधवार को प्रदर्शनकारियों ने रोके जाने पर पुलिस वालों को तलवार और डंडों से पीटा था। चंडीगढ़ में दर्ज FIR में पुलिस का दावा है कि उनके हथियार और टियर गैस गन भी लूटी गई। पुलिस ने यह भी कहा कि धरना देने वालों में 12 प्रो खालिस्तानी संगठन है । जिन्होंने खालिस्तान समर्थक नारे भी लगाए थे। पुलिस ने प्रदर्शन के प्रबंधकों जगतार सिंह हवारा का धर्म पिता गुरचरण सिंह, बलविंदर सिंह, अमर सिंह चहल, दिलशेर सिंह जंडियाला, जसविंदर सिंह राजपुरा, रुपिंदरजीत सिंह व अन्य
पर हत्या की कोशिश की धाराओं में केस दर्ज किया है।
फुटेज देख होगी पहचान पुलिस केस के मुताबिक बड़ी संख्या में प्रदर्शनकारी सेक्टर 52-53 के बैरियर के पास पहुंचे थे। इनके पास तेजधार हथियार, तलवार, खंडे, गंडासे और डंडे शामिल थे। इन्हें आगे बढ़ने से रोकने पर हिंसक हो प्रदर्शनकारियों ने ट्रैक्टरों और घोड़ों पर सवार हो पुलिस पार्टी पर हमला किया। पुलिस के बैरिकेड्स को तोड़ा गया और पुलिस गाडियों को भी तोड़ दिया गया। इनके हमले में कई पुलिसकर्मी घायल हुए। पुलिस ने कहा कि घटना की वीडियो फुटेज देख रही है।
इसलिए चंडीगढ़ में एंट्री की मनाही प्रदर्शनकारियों ने फैसला किया था कि 6 फरवरी से 31 मेंबर्स का जत्था प्रदर्शन स्थल से चंडीगढ़ में पंजाब के मुख्यमंत्री आवास और राजभवन के पास रोजाना मार्च निकालेगा। हालांकि चंडीगढ़ में धारा 144 होने, मुख्यमंत्री का निवास हाई सेसेंटिव जोन में होने एवं सुरक्षा कारणों से चंडीगढ़ पुलिस लगातार प्रदर्शनकारियों को रोक रही थी। प्रदर्शनकारी हवारा को मोहाली और चंडीगढ़ कोर्ट में भी पेश न किए जाने से नाराज हैं।